Mon. Dec 4th, 2023

12 सुखोई फाइटर जेट (Sukhoi Fighter Jet) का सौदा फाइनल होने के बाद भारत अब रूस (Russia) से मिग 29 फाइटर जेट खरीदने की तैयारी में है. सूत्रों के मुताबिक, इस सौदे की बातचीत काफी आगे पहुंच चुकी है. भारतीय वायुसेना (IAF) करीब तीन दशकों से मिग-29 फाइटर जेट्स का इस्तेमाल कर रही है और वो इनसे काफी संतुष्ट है. वायुसेना के पास मिग-29 की अभी तीन स्क्वॉड्रन है, जिन पर चीन (China) और पाकिस्तान (Pakistan) से सटी सीमा की सुरक्षा का जिम्मा है. इसी साल अगस्त में मिग-29 की एक स्क्वॉड्रन को श्रीनगर एयरबेस पर तैनात किया गया है.

रूस से आएगा सबसे भरोसेमंद साथी

सूत्रों के मुताबिक, भारत रूस से मिग-29 की बॉडी खरीदेगा और फिर भारत में ही जरूरत के मुताबिक, उसमें रडार, मिसाइल और दूसरे उपकरण लगाए जाएंगे. बताया जा रहा है कि नए मिग 29 फाइटर जेट्स पर नई पीढ़ी की ब्रह्मोस मिसाइल तैनात की जाएगी. नई पीढ़ी की ब्रह्मोस मिसाइल का वजन डेढ़ टन होगा और उनकी रेंज 1,200 किलोमीटर तक होगी.

चीन-पाकिस्तान की उड़ेगी नींद

फाइटर जेट्स की कमी से जूझ रही भारतीय वायुसेना के पास इस समय फाइटर जेट की 30 स्क्वॉड्रन हैं जबकि चीन और पाकिस्तान के मोर्चे पर सुरक्षा के लिए वायुसेना को 41 स्क्वॉड्रन की जरूरत है. कहा जा रहा है कि एक साल के अंदर मिग-21 की तीन स्क्वाड्रन रिटायर हो जाएंगी जिसके बाद फाइटर जेट्स की कमी और बढ़ जाएगी.

भारतीय सेना ने कस ली है कमर

गौरतलब है कि भारतीय वायुसेना चीन और पाकिस्तान की सीमा पर कड़ी निगरानी रखने के लिए कमर कस ली है. LoC और LAC पर ‘प्रचंड’ लाइट कॉम्बैट हेलिकॉप्टर की तैनाती होगी जिन्हें भारतीय वायुसेना जल्दी HAL से खरीदेगी. वायुसेना जल्द ही सीमा पर प्रचंड लाइट कॉम्बैट हेलीकॉप्टर तैनात करने वाली है, जिसके लिए जल्दी ही हिन्दुस्तान ऐरोनॉटिक्स लिमिटेड (HAL) को ऑर्डर दिया जाएगा.

भारतीय वायुसेना हिन्दुस्तान ऐरोनॉटिक्स लिमिटेड से 156 प्रचंड लाइट कॉम्बैट हेलीकॉप्टर खरीदेगी. इनमें से 66 भारतीय वायुसेना और बाकी 90 भारतीय सेना खरीदेगी. वायुसेना और भारतीय सेना बीते 15 महीनों में 15 हेलिकॉप्टरों को पहले ही अपने बेड़े में शामिल कर चुके हैं. प्रचंड रेगिस्तानी इलाकों और ऊंचाई वाले इलाकों दोनों में संचालित किया जा सकता है.

दुनिया का एकमात्र लड़ाकू हेलीकॉप्टर है जो 5000 मीटर यानी करीब 16 हजार 400 फीट की ऊंचाई पर उतर और उड़ान भर सकता है. प्रचंड की सियाचिन और पूर्वी लद्दाख के ऊंचाई वाले क्षेत्रों के लिए एक दम सही है. साथ ही हवा से जमीन और हवा से हवा में मार करने वाली मिसाइलें भी दाग सकता है. पूर्ण सैन्य आवश्यकताओं को पूरा करने के लिए सेवाओं में इन हेलिकॉप्टरों की संख्या 300 से अधिक होने की उम्मीद है और जल्द ही निर्यात बाजारों में खरीदार मिलने की भी उम्मीद है.

SRN Info Soft Technology

By SRN Info Soft Technology

News Post Agency Call- 9411668535 www.newsagency.srninfosoft.com

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *